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चीनी एप्लीकेशन बैन करने को एक डिजिटल स्ट्राइक बताया , जानिए कैसे

केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने सरकार के इस कदम को चीन पर ‘डिजिटल स्ट्राइक’ बताया है…

भारत सरकार ने टिक-टॉक, यूसी ब्राउजर समेत चीन के 59 ऐप गूगल प्ले स्टोर से हटा दिए हैं. केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने सरकार के इस कदम को चीन पर ‘डिजिटल स्ट्राइक’ बताया है. प्रसाद ने पश्चिम बंगाल में बीजेपी की एक रैली में कहा, “हमने देशवासियों के डेटा को सुरक्षित रखने के लिए चीनी ऐप प्रतिबंधित किए. यह एक डिजिटल स्ट्राइक है.”

भारत सरकार ने जिन एप पर बैन लगाया गया है उनमें मशहूर टिक-टॉक के अलावा यूसी ब्राउजर, कैम स्कैनर जैसे और फेमस ऐप शामिल हैं. TikTok, Shareit, UC Browser, DU battery saver, Helo, Likee, WeChat, UC News, BigoLive और Vigo Video वो 10 ऐप हैं जो भारत में काफी पॉपुलर थे.

चीन के सरकारी अखबार ग्लोबल टाइम्स ने भारत सरकार के इस कदम से चीन को भारी नुकसान होने का अनुमान जताया है. ग्लोबल टाइम्स ने ट्वीट किया है कि पिछले महीने भारत और चीनी सैनिकों के बीच घातक सीमा झड़प के बाद भारत सरकार ने Tik Tok सहित 59 चीनी एप्स पर प्रतिबंध लगा दिया. इस फैसले से चीनी इंटरनेट कंपनी ByteDance जो Tik Tok की भी मदर कंपनी है उसको 6 बिलियन डॉलर का नुकसान हुआ है.

वहीं बैन होने के बाद टिक टॉक ने अपनी प्रतिक्रिया में कहा है कि वह सरकार के फैसला का पालन करेगा. टिक टॉक ने दावा किया है कि उसने कभी भी भारतीय यूजर्स का डेटा चीनी सरकार का साथ शेयर नहीं किया है. टिक टॉक के अधिकारी पूरे मामले पर सरकार से जल्द ही बात भी करेंगे.

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