अयोध्या में प्राण प्रतिष्ठा से पहले गुरुवार (18 जनवरी) को भगवान रामलाल की प्रतिमा को मंदिर के गृर्भग्रह में स्थापित किया जाना है. इसके लिए शुभ मुहूर्त का समय फाइनल हो गया है. रामलला के विग्रह को गर्भग्रह में स्थापित करने का मुहूर्त दोपहर 1.20 से 1.28 के बीच है. सभी 131 वैदिक दोपहर 12 बजे राम जन्मभूमि गर्भगृह पहुंचेंगे. इसी मुहूर्त में विग्रह को स्थापित किया जाएगा और 24 अलग अलग पद्धतियां से पूजन प्रक्रिया शुरू होगी.
वहीं, बुधवार (17 जनवरी) रात रामलला की मूर्ति राम मंदिर परिसर में पहुंची. एक क्रेन की मदद से मूर्ति को परिसर में लाया गया. इस मूर्ति को ही आज गर्भगृह में स्थापित किया जाना है. मूर्ति को गर्भगृह में लाने से पहले विशेष पूजा-अर्चना भी की गई. गर्भगृह में रामलला का सिंहासन भी बनाया गया है. मकराना पत्थर से बने सिंहासन की ऊंचाई 3.4 फीट है. इसी सिंहासन पर भगवान की प्रतिमा को विराजमन किया जाएगा. इसके बाद भक्त इस प्रतिमा के दर्शन कर पाएंगे.
अयोध्या में किया गया कलश पूजन
वहीं, प्राण प्रतिष्ठा से पहले अयोध्या में कई तरह के अनुष्ठान चल रहे हैं. इसके तहत बुधवार को सरयू नदी के तट पर कलश पूजन किया गया. प्राण प्रतिष्ठा समारोह से पहले हो रहे अनुष्ठान की शुरुआत मंगलवार से हुई है, जो 21 जनवरी तक चलने वाली है. सरयू नदी के तट पर ‘यजमान’ (मुख्य यजमान) के जरिए कलश पूजन किया गया, जिसमें सैकड़ों लोगों ने हिस्सा लिया. श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के सदस्य अनिल मिश्रा, उनकी पत्नी और अन्य लोगों ने कलश पूजन किया.
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